हर दिन लाखों यात्रियों की भीड़
पटना जंक्शन बिहार का सबसे व्यस्त रेलवे स्टेशन है। हर दिन यहाँ लाखों यात्री ट्रेनों से सफर करते हैं। सीमित प्लेटफॉर्म और ट्रैक की वजह से प्लेटफॉर्म पर अफरा–तफरी और देरी आम हो चुकी है। लंबे समय से रेलवे पर दबाव बना हुआ था कि जंक्शन का बोझ कम किया जाए।
रेलवे का बड़ा फैसला
रेलवे ने अब जंक्शन के पास हार्डिंग पार्क में नया पैसेंजर ट्रेन टर्मिनल बनाने का फैसला लिया है। यह टर्मिनल पूरी तरह से लोकल और पैसेंजर ट्रेनों के संचालन के लिए समर्पित होगा। इसके शुरू होने के बाद पटना जंक्शन से 70–80 ट्रेनों का दबाव हट जाएगा।
नए टर्मिनल की खासियतें
हार्डिंग पार्क टर्मिनल आधुनिक सुविधाओं से लैस होगा। यहाँ बड़े वेटिंग हॉल, डिजिटल टिकटिंग सिस्टम, सीसीटीवी निगरानी, एस्केलेटर, पार्किंग और दिव्यांग-अनुकूल व्यवस्था होगी। यह पूरी तरह से यात्रियों की जरूरतों को ध्यान में रखकर डिजाइन किया जा रहा है।
यात्रियों को मिलेगी राहत
नए टर्मिनल के तैयार होने से जंक्शन पर भीड़ कम होगी। लोकल और पैसेंजर ट्रेनों के समय पालन में सुधार आएगा। लंबी दूरी की ट्रेनों के संचालन के लिए अधिक जगह उपलब्ध होगी। इससे यात्रियों को ज्यादा सुरक्षित और आरामदायक यात्रा मिलेगी।
आर्थिक व सामाजिक लाभ
इस परियोजना से स्थानीय व्यवसाय को बढ़ावा मिलेगा। नए टर्मिनल के आसपास रोजगार और दुकानदारी के अवसर बढ़ेंगे। रेलवे के संचालन में दक्षता आने से आय भी बढ़ेगी और पटना शहर का आर्थिक विकास तेज होगा।
निर्माण कार्य व समयसीमा
रेलवे अधिकारियों के अनुसार, हार्डिंग पार्क टर्मिनल का निर्माण कार्य तेज़ी से चल रहा है। पहले चरण में बुनियादी ढांचा तैयार किया जा रहा है। लक्ष्य है कि अगले 2–3 वर्षों में यह टर्मिनल पूरी तरह से तैयार हो जाए।
स्थानीय प्रतिक्रिया
यात्रियों और व्यापारियों ने इस कदम का स्वागत किया है। उनका कहना है कि इससे सफर ज्यादा आरामदायक होगा और जंक्शन पर भीड़भाड़ कम होगी। सोशल मीडिया पर भी लोग इस परियोजना की तारीफ कर रहे हैं।
भविष्य की संभावनाएं
नया पैसेंजर टर्मिनल तैयार होने के बाद पटना का रेल नेटवर्क और मजबूत होगा। रेलवे इस मॉडल को अन्य शहरों में भी लागू कर सकता है। यह परियोजना पटना को एक आधुनिक रेलवे हब के रूप में स्थापित करने में मील का पत्थर साबित होगी।
